वाद-विवाद प्रतियोगिता में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले 50 सफल प्रतिभागियों को किया गया पुरस्कृत 

मधेपुरा:-जिला मुख्यालय के सदर प्रखंड अंतर्गत तुलसीवाड़ी पंचायत के नृवसृजित प्राथमिक विद्यालय परिसर राजपुर में शुक्रवार को सृजन दर्पण के संस्थापक एवं शिक्षाविद बालकृष्ण प्रसाद यादव की चौथीं पुण्यतिथि समारोह के अवसर पर छात्र छात्राओं के बीच वाद-विवाद प्रतियोगिता आयोजित किया गया। बड़ी संख्या में उत्सव के साथ ग्रामीण क्षेत्रों के बच्चों ने भाग लिया। प्रतियोगिता में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले 50 प्रतिभागियों को आयोजित समिति द्वारा पुरस्कृत किया गया। संस्था के निदेशक विकास कुमार ने बताया कि बालकृष्ण बाबू की कृतियां अमर है। उनके द्वारा स्थापित निशुल्क शिक्षा पाठशाला और सामाजिक सांस्कृतिक एवं साहित्यिक संस्था बेहतर समाज के निर्माण में अग्रणी भुमिका निभा रही हैं। उन्होंने विश्वास कि यह परंपरा आगे और समृद्धि होगी। आयोजन समिति सचिव प्रतियोगिता के कार्यक्रम संयोजक इंजिनियर विक्रम कुमार ने बताया कि निशुल्क पाठशाला अभिनय शुरू करने का उद्देश्य यही था कि शिक्षा के साथ-साथ बच्चों को संस्कारित करना है। पढ़ाई के अलावा आम जीवन के लिए जरूरी बातों को समाहित किया जाना है। बाहरी वातावरण का असर बच्चों पर अधिक परता है। हमारे बच्चे गौरवमय अतीत के बारे में जानकारी नहीं रखते हैं। ऐसी समस्याओं को दूर करने के लिए ही निशुल्क पाठशाला की शुरुआत की गई है।          पहले बच्चों को परिवार से स्कूल से और आसपास के वातावरण से संस्कार मिला करती थी जिसका आजकल समाज में अभाव हो गया है। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए प्रधान शिक्षक विजेंद्र यादव ने उन्हें कुशल प्रशासक बताते हुए कहा कि बालकृष्ण बाबू ने अपना सर्वस्व जीवन शिक्षा जगत के लिए न्योछावर कर दिया। उन्होंने आगे कहा कि एक कुशल शिक्षक के साथ- साथ एक समाज सेवी भी थे। उनके जीवन से अनुशासन और कर्तव्यनिष्ठता से सीख लेनी चाहिए।समाज और शिक्षा के क्षेत्र में अविस्मरणीय योगदान को कभी भूलाया नहीं जा सकता, सदा याद किये जायेंगें। वरीय शिक्षिका नीलम कुमारी ने कहा कि कुशल शिक्षक के रुप में सदैव याद किए जाएगें, उनके द्वारा समाज हित में किए गए सामाजिक कार्यों के लिए पूजनीय रहेंगे। उन्होंने कहा कि बालकृष्ण यादव मृदु भाषी व्यक्ति थे। कोशी प्रमंडल में एक शिक्षक के रूप में अपनी अलग पहचान बनाई। शिक्षिका रीचा रवण ने कहा कि इस तरह के प्रतियोगिता से बच्चों के सर्वांगीण विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभातीं हैं। उनकी प्रतिभा निखरती है, और वे नए-नए कौशल सीखते हैं।शिक्षिका वंदना सिंह ने पुरस्कार के महत्व की चर्चा करते हुए कहा कि इससे बच्चों में आत्मविश्वास पैदा होता है और वे अपने को गौरवान्वित महसूस करते हैं। उन्होंने कही कि छात्रों को चाहिए कि वे जीवन के हर क्षेत्र में पुरस्कार हासिल करने के लिए प्रयत्‍‌नशींल रहे। कार्यक्रम को सफल बनाने में आयोजन समिति के सभी सदस्यगण और विद्यालय के रसोइया मुन्नी देवी, ममता देवी, सफाई कर्मी देंयन्ती कुमारी आदि ने अहम भूमिका निभाई।

व्हाट्सप्प आइकान को दबा कर इस खबर को शेयर जरूर करें

विज्ञापन बॉक्स (विज्ञापन देने के लिए संपर्क करें)


स्वतंत्र और सच्ची पत्रकारिता के लिए ज़रूरी है कि वो कॉरपोरेट और राजनैतिक नियंत्रण से मुक्त हो। ऐसा तभी संभव है जब जनता आगे आए और सहयोग करे
Donate Now
अब पायें अपने शहर के सभी सर्विस प्रवाइडर के नंबर की जानकारी एक क्लिक पर


               
हमारे  नए ऐप से अपने फोन पर पाएं रियल टाइम अलर्ट , और सभी खबरें डाउनलोड करें
डाउनलोड करें

जवाब जरूर दे 

क्या आप मानते हैं कि कुछ संगठन अपने फायदे के लिए बंद आयोजित कर देश का नुकसान करते हैं?

View Results

Loading ... Loading ...


Related Articles

Back to top button
Close
Website Design By Mytesta.com