ठंड के मौसम में कई गुणा बढ़ जाता है अटैक व हैमरेज का खतरा:-डॉ. इफ्तेखार

छोटे बच्चे व बुजुर्गों की सेहत के प्रति ज्यादा संवेदनशील होने की जरूरत

अररिया:-जिले में ठंड का मौसम अपने परवान पर है। औसत तापमान में गिरावट जारी है। ठंड का मौसम सेहत संबंधी कई चुनौतियां लेकर आता है। खास कर छोटे बच्चे व बुजुर्गों की सेहत पर इस मौसम में विशेष ध्यान देने की जरूरत है। शहर के मशहूर फिजिशियन डॉ. मो. इफ्तेखार ने बताया कि सर्दी के मौसम में शरीर में रक्त का दबाव बढ़ जाता है। जो हार्ट अटैक व ब्रेन हैमरेज का कारण बनता है। ऐसे में मधुमेह, बीपी, हार्ट के मरीजों को ठंड में अपनी सेहत के प्रति ज्यादा सतर्क व सचेत रहने की जरूरत है। बुजुर्गों के लिये ये जरूरी है कि बहुत जरूरी होने पर ही वे अपने घर से बाहर निकले। खुली धूप होने पर उसमें अधिक समय बितायें, गर्म व ऊनी कपड़ों का अधिक इस्तेमाल करें, नियमित रूप से गर्म पानी का सेवन व नियमित समय पर जरूरी दवाओं का सेवन इस मौसम में बुजुर्गों के लिये ज्यादा जरूरी हो जाता है।
डॉ इफ्तेखार ने बताया कि ठंड के मौसम में हार्ट अटैक व ब्रेन हैमरज से जुड़े मामले 20 से 25 फीसदी तक बढ़ जाते हैं। बुजुर्ग ही नहीं थोड़ी सी लापरवाही की वजह से कम उम्र के युवा व व्यस्क भी इसकी चपेट में आ जाते हैं। कमजोर इम्यूनिटी, उच्च रक्तचाप, हृदय संबंधी रोग, मधुमेह सहित अन्य गंभीर रोग से पीड़ित मरीजों को इसका खतरा अधिक रहता है। ठंड के मौसम में अक्सर लोग पानी का सेवन कम करते हैं। लोगों की शारीरिक गतिविधियां कम हो जाती है।                                     आमतौर पर लोग गर्म व तेल मसाला युक्त खाना पसंद करते हैं। इससे शरीर में सुगर का लेवल प्रभावित होता है। इसलिये शरीर को स्वस्थ व गर्म बनाये रखने के लिये खिली धूप में अधिक समय बिताना, हल्का व्यायाम, संतुलित व पौष्टिक आहार का सेवन जरूरी हो जाता है। जिले में डायबिटीज व हाइपरटेंशन के मरीजों की संख्या तेजी से बढ़ रही है। उपलब्ध आंकड़ों के मुताबिक जिले में 15 साल से अधिक उम्र के 13.6 फीसदी महिलाएं ब्लड सुगर अधिक होने की वजह से दवा का सेवन करती हैं। वहीं 15 साल से अधिक उम्र के 18.8 शुगर की दवा का सेवन करते हैं। वहीं 15 साल से अधिक उम्र की 12.1 फीसदी महिलाएं व 15.8 फीसदी पुरूष ब्लड प्रेशर को नियंत्रित रखने के लिये नियमित दवा का सेवन करते हैं। इसके अलावा ठंड के कारण सेहत से जुड़ी चुनौतियों से बचाव के लिये विभिन्न स्तरों पर लोगों को जागरूक किये जाने की जानकारी उन्होंने दी। डॉ. इफ्तेखार ने बताया कि ठंड के मौसम में सेहत से जुड़ी चुनौतियों से बचाव के लिये बुजुर्गों व बच्चों की सेहत के प्रति अधिक संवेदनशील रहने की जरूरत होती है। बुजुर्गों के लिये इस मौसम में सुपाच्य हेल्दी डाइट व पर्याप्त नींद के साथ-साथ ससमय जरूरी दवाओं का सेवन जरूरी होता है। किसी भी रूप में हल्दी, तुलसी व अदरक का प्रयोग शरीर को गर्म बनाये रखने में मददगार होता है। इसी तरह बेहतर सेहत के लिये रसदार मौसमी फल, गाजर, टमाटर सहित अन्य हरी पत्तेदार सब्जी का सेवन महत्वपूर्ण है। इसी तरह बच्चों का ठंड से बचाव जरूरी है। बच्चों को हमेशा गर्म कपड़े से ढ़क कर रखना, आरामदायक व गर्म कपड़ों का उपयोग, नियमित स्तनपान व सुपाच्य ऊपरी आहार का नियमित अंतराल पर सेवन कराया जाना उनकी सेहत के लिये जरूरी होता है।

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